Last Updated on 20th February 2022 by AJ

ऋषभ पंत का नाम एक निडर और साहसी खिलाडी के रूप में लिया जाता है । टेस्ट, वन डे और T-20 तीनो ही फॉर्मेट में अपने आक्रामक बैटिंग अंदाज़ के कारण पंत ने खूब वाह वाही पायी है तो टेस्ट क्रिकेट में छक्के से खाता खोल कर अद्भुत रिकॉर्ड भी अपने नाम किया है ।

पर इन सब के बिच ऋषभ पंत ने खूब आलोचनाओं का सामना भी किया है और कुछ समय टीम से बाहर भी बैठना पड़ा है पर जो भी हो ऋषभ पंत ने कभी हार नहीं मानी।

अपने खेलने का अंदाज़ नहीं बदला और अपने संघर्ष को सफलता में बदलना सिख ही गए और हमें भी ऋषभ की जीवनी काफी प्रेरणा देती है। ऋषभ पंत अपने खेल से ओर भी बड़े रिकॉर्ड ओर मुकाम हासिल करेंगे क्यों की अभी युवा खिलाडी ही तो है । तो चलिए ऋषभ की संघर्ष भरी जीवनी की तरफ चलते है शुरू करते है ऋषभ के परिवार से –

ऋषभ पंत और उनका परिवार (Rishabh Pant Family)

ऋषभ पंत का जन्म उत्तराखंड के रुड़की में 4 ऑक्टूबर 1997 को हुआ । पिता राजेंद्र पंत और माँ सरोज पंत की दूसरी संतान के रूप में साधारण परिवार में हुआ। शाक्षी पंत के छोटे भाई ऋषभ शांत स्वाभाव के बच्चे रहे है । पिता राजेंद्र पंत क्रिकेट के शौकीन थे । बचपन में ऋषभ पंत अपने पापा के साथ क्रिकेट मैच देखने जाते और टीवी पर भी क्रिकेट देखते यहाँ से ऋषभ पंत को क्रिकेट का शौक लगा।

करोड़ो भारतीय की तरह ऋषभ गली, मोहल्ले और स्कूल में क्रिकेट खेलने के कारण ऋषभ घर पर लेट आने लगे। ऋषभ को केवल क्रिकेट ज्यादा खेलने के लिए ही डाँट पड़ती। पर फिर भी जब ऋषभ नहीं माने तो राजेंद्र पंत ने ऋषभ को क्रिकेटर बनाने का सपना देखा और फिर शुरू हुवा ऋषभ के क्रिकटर बनने का सफर जो की काफी कठिनाइयों भरा रहा । आइये चलते है ऋषभ के क्रिकेट सफर पर >>>>

अंडर 12 और कोच तारक सिन्हा (Coach Tarak Sinha)

ऋषभ ने रुड़की में अंडर 12 घरेलु टूर्नामेंट में खेलते हुए 5 मैचों में 135 रन बनाकर मैन ऑफ़ थे सीरीज रहे । रुड़की में ऋषभ इस समय काफी चर्चा में आ गए पर रुड़की में क्रिकेट की कोई अच्छी अकेडमी नहीं थी ।

इसलिए ऋषभ दिल्ली के सॉनेट क्रिकेट क्लब में कोच तारक सिन्हा के यहाँ से दिल्ली में शनिवार रविवार को क्रिकेट की कोचिंग लेने के लिए जाते । अभी ऋषभ सिर्फ 12 साल के थे इस कारण रात को 2:00 – 2:30 बजे रुड़की से दिल्ली अपनी माँ सरोज पंत के साथ आते और पैसो की कमी के कारण गुरूद्वारे में ही खाना खाते और वही सो जाते थे । यह सिलसिला 3-4 महीनो तक चलता रहा फिर ऋषभ ने दिल्ली में रूम किराये पर ले लिया ।

ऋषभ के रोल मोडल – एडम गिलक्रिस्ट

यहाँ कोच तारक सिन्हा ने ऋषभ की विकेट कीपिंग देखी और ऋषभ को कहा की केवल कीपिंग से इंडिया के लिए खेलना नहीं हो पायेगा और तारक सिन्हा ने ऋषभ को एडम गिलक्रिस्ट की तरह विस्फोटक बल्लेबाज़ और कीपर बनाने के लिए ऋषभ को गिलक्रिस्ट के खूब वीडियो दिखाए यहाँ से ऋषभ गिलक्रिस्ट को अपना आइडियल मानने लगे और उन्ही की तरह बैटिंग में भी तेज़ तर्रार और विस्फोटक शॉट्स लगाने लग गए।

घरेलू टूर्नामेंट में किये अच्छे प्रदर्शन के कारण ऋषभ अंडर 19 में सेलेक्ट हो गए ।फिर आया टर्निंग पॉइंट ऋषभ के क्रिकेट करियर का ।

ऋषभ पंत : अंडर 19 और पहला आईपीएल सीजन | Under-19 and first IPL season

अंडर 19 वर्ल्ड कप ऋषभ पंत के क्रिकेट सफर का सबसे महत्वपूर्ण मोड रहा । अंडर 19 में राहुल द्रविड़ ने ऋषभ की बल्लेबाज़ी तकनीक में और सुधार करते हुए ऋषभ को ओर ज्यादा कुशल बल्लेबाज़ बना दिया ।

इस वर्ल्ड कप में ऋषभ ना केवल इंडिया की तरफ से दूसरे टॉप स्कोरर रहे बल्कि 24 बॉल्स में 78 रन की तूफानी पारी खेल कर सबका ध्यान खींचा।

उसी दौरान आईपीएल 2016 की नीलामी में delhi daredevils ने ऋषभ को 10 लाख के आधार मूल्य से कही ज्यादा 1.9 करोड़ में ख़रीदा । ठीक उसी दिन ऋषभ ने अंडर 19 वर्ल्ड कप के क्वार्टर फाइनल में नामीबिया के खिलाफ 48 गेंदों में 100 बनाते हुए इंडिया की तरफ से वर्ल्ड कप में सबसे तेज़ शतक का रिकॉर्ड भी बनाया।

ऋषभ पंत का आईपीएल में धमाल ( Rishabh Pant’s performance in IPL)

आईपीएल के तीसरे मैच में ही तूफानी फिफ्टी लगाते हुए अपने चयन को सही साबित करते दिखे ऋषभ पंत । पर ना ही ऋषभ और ना ही दिल्ली के लिए ये आईपीएल ज्यादा खास रहा।

ऋषभ पंत ने आईपीएल 2017 में गुजरात के खिलाफ 43 गेंदों में 97 रन की तूफानी पारी में 6 चौके और 9 छक्के लगाए । ऋषभ का बल्ला आईपीएल 2018 में भी जमकर बोला और खूब चोक्के-छक्कों की बारिश करते हुए ऋषभ ने पुरे वर्ल्ड को दिखा दिया की उनमे कितनी काबिलियत है। इस आईपीएल में ऋषभ पंत ने सबसे ज्यादा 37 छक्के और 68 चोक्के लगाते हुए पुरे आईपीएल के दूसरे सबसे ज्यादा रन 684 बनाने वाले बल्लेबाज़ रहे।

पिता का निधन

आईपीएल 2017 के अपने पहले मैच के लिए ऋषभ अपनी टीम दिल्ली डेरडेविल्स के साथ बंगलौर में प्रैक्टिस कर रहे थे। इसी बीच 5 अप्रैल की रात को ऋषभ पंत के पिता को दिल का दौरा और रात में नींद में ही उनका निधन हो गया

ऋषभ 6 अप्रैल को अपने पिता के अंतिम संस्कार के लिए रुड़की आते है । फिर अगले ही दिन ऋषभ अपने पिता का सपना पूरा करने वापस बंगलौर आकर 8 अप्रैल को बंगलौर के साथ मैच खेलते है । इस मैच में ऋषभ 36 गेंदों में 57 रन की साहसिक पारी खेलते है हालांकि दिल्ली की टीम यह मैच हार जाती है ।

किसी भी इंसान के लिए इस से ज्यादा दुःखद समय नहीं होता है । पर ऐसे दुःखद समय में हिम्मत बनाये रखते हुए ऋषभ ने अपने पापा का सपना पूरा करने के लिए दृढ़ इच्छा शक्ति और साहस का परिचय दिया ।

सचिन तेंदुलकर ने जहा वर्ल्ड कप में अपने पिता के स्वर्गवास के बाद केन्या के खिलाफ 1999 में शतक लगाया । वही विराट कोहली ने भी अपने पिता के स्वर्गवास के बाद मैदान पर अपने खेल से अपने पिता को श्रंद्धाजलि दी । इन्ही महान खिलाड़ियों की तरह ऋषभ ने भी मुश्किल परिस्थिति के समय खुद को ओर मजबूत करते हुए मैदान पर अपनी भावनाओं को अपने खेल से व्यक्त किया ।

पापा के जाने के बाद मैं टूट चूका था, लेकिन वे हमेशा चाहते थे मैं क्रिकेट खेलु । वो हमेशा मुझे बढ़ावा देते थे । मैंने उनकी प्रेरणा से ही क्रिकेट खेलना शुरू किया । – ऋषभ पंत

आईपीएल और रणजी 2016-17 के घरेलू सत्र में ऋषभ रन बनाते जा रहे थे। रणजी के एक टेस्ट मैच में 308 रन की पारी खेल तिहरा शतक लगाने वाले चौथे सबसे युवा बने और 48 गेंदों में तेज़ तर्रार 100 भी बनाते हुए सिर्फ 5 मैचों में 44 छक्के लगाए । और 2017 -18 के जोनल T-20 मैच में 32 बॉल्स में 100 बनाकर विश्व में दूसरे सबसे तेज़ शतक लगाने का रिकॉर्ड अपने नाम किया ।

ऋषभ- मैं क्रिकेट में छक्के लगाने ही आया हूँ।

सपना पूरा हुआ पर मंजिल नहीं मिली…

T-20 debut (cap 68)1 February 2017 vs England
one day debut (cap 224)21 October 2018 vs West Indies
test debut (291)18 August 2018 vs England

उनके बेहतरीन प्रदर्शन को देखते हुए भारतीय टीम में T-20 के लिए 2017 में ऋषभ पंत का चयन हुवा। ऋषभ को इंडिया के लिए 2018 में वन डे और टेस्ट के लिए चुना गया इंग्लैंड के खिलाफ खेलते हुए टेस्ट में ऋषभ ने सबको प्रभावित किया और इंग्लैंड के साथ 4 मैचों की सीरीज में अच्छा खेल दिखाए और तीसरे टेस्ट मैच में शतक लगाकर इंग्लैंड की जमीं पर शतक लगाने वाले पहले भारतीय विकेट कीपर बने ।

ऋषभ की धोनी से तुलना और फिर बुरा दौर

इसके बाद ऑस्ट्रेलिआ टूर में भी न केवल टेस्ट में बल्कि T-20 में धोनी की जगह चुने गए । टेस्ट मैचों में इंडिया ने पहली बार ऑस्ट्रेलिया में सीरीज जितते हुए इतिहास रच दिया।

ऋषभ ने इस टूर में शतक लगाने के साथ इंग्लैंड और ऑस्ट्रेलिया में शतक लगाने वाले पहले भारतीय विकेट कीपर बल्लेबाज़ बनने का गौरव हासिल किया । विकेट कीपिंग में भी जबरदस्त प्रदर्शन करते हुए एक टेस्ट मैच में सबसे ज्यादा 11 कैच लेने के रिकॉर्ड की बराबरी करते हुए वाहवाही लूटी ।

लेकिन T-20 में ऋषभ को मस धोनी की जगह लिया गया। यहाँ ऋषभ की तुलना महान बल्लेबाज़ और कीपर धोनी से की जाने लगी । पर T-20 में ऋषभ का पर्दर्शन औसत रहा यहाँ से क्रिकेट प्रेमी ऋषभ की धोनी की जगह चुने जाने के कारण ऋषभ के खेल और विकेट कीपिंग में गलती होने पर सवाल उठने लगे ।

मेरी म.स. धोनी से तुलना मत कीजिये, वे महान खिलाडी है – ऋषभ पंत

वर्ल्ड कप के बाद के इंडिया की वेस्ट इंडीज और अफ्रीका सीरीज में ऋषभ के औसत विकेट कीपिंग और गलत शॉट खेलने की वजह से ऋषभ को चारो तरफ से आलोचना का शिकार होना पड़ा उनकी कीपिंग में गलती होने पर धोनी धोनी के नारे लगाए गए और यहाँ ऋषभ की जगह वन डे में लोकेश राहुल और टेस्ट में वृदमान साहा को खिलाया जाने लगा और ऋषभ को बहार बैठना पड़ा ।

बरसो तक याद रखे जानी वाली ऐतिहासिक पारी

सौरव गांगुली, विराट कोहली ,रोहित शर्मा, शिखर धवन और पूरी टीम इंडिया ने ऋषभ के खेल पर विश्वास जताते हुए उसे और मोके दिए जाने का समर्थन किया था और 2020-21 के ऑस्ट्रेलिया टूर में 15 सदस्यीय टीम में ऋषभ को चुना गया।

ऑस्ट्रेलिया टूर 2020-21 में भारतीय प्रमुख खिलाड़ियों के चोटिल और आउट ऑफ़ फॉर्म होने के कारण ऋषभ को खेलने का मौका मिला । कहते है न मुश्किल परिस्थितियों में ही पता चलता है कौन कितना बहादुर और लड़ने की क्षमता रखता है ठीक वैसा ही हुआ। मौका मिलते ही ऋषभ ने जो खेल दिखाया की हर क्रिकेट प्रेमी ऋषभ के खेल की सराहना करते हुए नहीं थक रहा ।

ऑस्ट्रेलिया में इंडिया ने पहला टेस्ट हारने के बाद शानदार वापसी करते हुए दूसरे टेस्ट मैच को जीत लिया और तीसरे टेस्ट की चौथी पारी में जहा भारत की हार निश्चित दिख रही थी वहां से ऋषभ ने 97 रन की पारी खेलते हुए टेस्ट को ड्रा करने में महतवपूर्ण भूमिका निभाई और फिर वही कहानी चौथे टेस्ट में हुयी जहा से इंडिया की जीत लगभग नामुमकिन लग रही थी वहां से ऋषभ ने अपनी ताबड़तोड़ बल्लेबाज़ी से टेस्ट मैच जीता कर ही दम लेते हुए ऑस्ट्रेलिया का गाबा में 32 साल से नहीं हारने का गुरुर चकनाचूर कर दिया ।

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ऋषभ के catchit records

* ऋषभ जब t20 मैच खेले भारत के लिए तब वो सबसे युवा खिलाडी बने t20 अंतरास्ट्रीय मैच खेलने बने ।

* under 19 वर्ल्ड कप में 18 गेंदों में 50 रन बना कर सबसे तेज़ फिफ्टी का रिकॉर्ड बनाया भारत के लिए ।

* रणजी मैच में तिहरा शतक (308) लगा कर तीसरे सबसे युवा खिलाडी बने भारत के लिए तिहरा शतक लगाने वाले ।

* zonal क्रिकेट के मैच में 2017-18 में सिर्फ 32 गेंदों में 100 बना कर ऋषभ ने किसी भी भारतीय द्वारा सबसे तेज़ शतक का कीर्तिमान स्थापित किया ।

* ऋषभ ने आईपीएल 2018 में sunrises haidrabaad के खिलाफ शतक (128) बनाकर delhi daredevils (delhi capital) की तरफ से पहला शतक लगाने का गौरव हासिल किया है।

* रणजी ट्रॉफी में दिल्ली के लिए 48 गेंदों में 100 रन बनाकर झारखण्ड के खिलाफ सबसे तेज़ शतक का रिकॉर्ड बनाया ।

* पंत आईपीएल में 1000 रन बनाने वाले सबसे युवा खिलाडी है ।

* ऋषभ ने टेस्ट में खाता छक्का लगा कर खोला । छक्के से टेस्ट सफर की शुरुआत करने वाले पहले भारतीय बनने का अनूठा कारनामा भी किया है ।

* भारतीय विकेटकीपर द्वारा आईसीसी टेस्ट रैंकिंग में टॉप टेन में आने वाले पहले विकेट कीपर बल्लेबाज़ बने अभी जनवरी 2021 में ऋषभ की टेस्ट रैंकिंग 07 है ।

BattingTestOdiT20Ipl
Matches20173268
Innings33152968
Runs13584515122079
Balls19004014151368
Highest1597765128
Average45.2730.0721.3335.24
SR71.47112.47123.37151.97
Sixes331721103
Fours1454339183
100s3001
50s62212
Not out3059
27 मार्च 2021 तक

ऋषभ पंत के सोशल एकाउंट्स

ऋषभ पंत सोशल साइट्स पर काफी एक्टिव रहते है । लगातार अपनी फोटो और वीडियो अपलोड करते रहने के अलावा क्रिकेट से सम्बंधित पोस्ट भी करते रहते है अपने प्रसंशको और शुभचिंतको के साथ समय बिताना पंत को अच्छा लगता है । ऋषभ पंत के सोशल अकाउंट लिंक पर क्लिक करके आप ऋषभ से जुड़ सकते हो –

ऋषभ पंत के शॉट जाते है तेज तर्रार…Lets Catch it Yaar

 

Ravi

नमस्कार दोस्तों, मैं रवि हूँ। ...मैंने इनफार्मेशन टेक्नोलॉजी में ग्रेजुएशन किया है। मुझे क्रिकेट से सम्बंधित खबर पढ़ना और लिखना , क्रिकेट के बारे में जानने का बहुत शौक है.. बचपन से गलियों, मैदान में खूब क्रिकेट खेला है। क्रिकेट के बारे में आपके साथ जानकारी बाँटते हुए मुझे बहुत ख़ुशी होती है। इस https://www.catchityaar.com/ वेबसाइट के जरिये मैं क्रिकेट के माध्यम से आपसे जुड़ा हुआ हूँ। आपके प्यार और सहयोग के लिए मैं दिल से आभारी हूँ। धन्यवाद,...(Lets catch it yaar)

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